नई दिल्ली: भारत में हर साल 4 मार्च को राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस मनाया जाता है। भारत में राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की स्थापना 4 मार्च 1972 को हुई थी। राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद दुर्घटनाओं को रोकने के लिए लागू किए जाने वाले सुरक्षा उपायों के बारे में जागरूकता फैलाने के लिए काम करता है। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के उपलक्ष्य में हर साल 4 मार्च को सुरक्षा दिवस मनाते हैं।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस का उद्देश्य ?
इस दिन को मनाने का मुख्य उद्देश्य सुरक्षा उपायों को उजागर करना होता है। इस दिन लोगों को सुरक्षा को लेकर लोगों को जागरूक किया जाता है। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस सुरक्षा प्रोटोकॉल के महत्व पर जोर देता है। जो हजारों लोगों की जान बचाने में मदद करता है। इस दिन का उद्देश्य जागरूकता बढ़ाना और लोगों को सुरक्षा मानदंडों के बारे में शिक्षित करना है। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस श्रम और रोजगार मंत्रालय द्वारा शुरू की गई एक पहल है।
4 मार्च से 10 मार्च तक मनाया जाता है राष्ट्रीय सुरक्षा सप्ताह
4 मार्च भारत में राष्ट्रीय सुरक्षा सप्ताह की शुरुआत का भी प्रतीक माना जाता है। राष्ट्रीय सुरक्षा सप्ताह हर साल 4 से 10 मार्च तक मनाया जाता है। सभी सेक्टरों में सुरक्षा को लेकर जागरूकता फैलाना और दुर्घटनाएं में कमी लाना राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस का उद्देश्य है। किसी सेक्टर में काम करने वाले नागरिकों की सुरक्षा के महत्व को ध्यान में रखते हुए सुरक्षा सप्ताह मनाते हैं। इस दौरान हर क्षेत्र में लोगों को सेफ्टी से जुड़ी बातें बताई जाती हैं और इंडस्ट्रियल एक्सीडेंट से बचने के तरीके और इससे होने वाले नुकसान के बारे में बताया जाता है। इसके लिए कई तरह के कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है।
क्या है राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस 2023 की थीम?
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस 2023 की थीम “Our Aim – Zero Harm” है। ये थीम समाज की सुरक्षा के महत्व को दर्शाता है। इस अवसर का मकसद जितना संभव हो उतना नुकसान कम करना है। हर साल राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस को एक नई थीम के साथ मनाई जाती है।
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