मणिपुर : केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग, उपभोक्ता कार्य, खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण तथा कपड़ा मंत्री पीयूष गोयल ने शनिवार को मणिपुर के इंफाल पूर्वी जिले में ओलंपिक रजत पदक विजेता सेखोम मीराबाई चानू के पैतृक गांव में एक मेगा हैंडलूम क्लस्टर स्थापित करने की घोषणा की। केंद्रीय मंत्री मणिपुर की अपनी दो दिवसीय पहली यात्रा पर इंफाल में हैं, उन्होंने बिष्णुपुर जिले के मोइरंग में एक हथकरघा और हस्तशिल्प गांव की स्थापना करने की भी घोषणा की, यह वही स्थान है जहां आईएनए ने पहली बार भारतीय भूमि पर तिरंगा झंडा फहराया था। उन्होंने कहा कि यह पहल स्वतंत्रता सेनानियों, विशेषकर आईएनए के सैनिकों को उचित श्रद्धांजलि होगी।
केंद्रीय मंत्री ने आज मणिपुर सरकार के विकास आयुक्त (हस्तशिल्प) और केंद्रीय वस्त्र मंत्रालय द्वारा इम्फाल के सिटी कन्वेंशन सेंटर में संयुक्त रूप से आयोजित शिल्प की विषयगत प्रदर्शनी के उद्घाटन के बाद अपने संबोधन के दौरान यह घोषणा की। इस प्रदर्शनी का आयोजन आजादी का अमृत महोत्सव उत्सव के एक भाग के रूप में किया गया था।
पीयूष गोयल ने कहा कि उनके मंत्रालय ने ओलंपिक रजत पदक विजेता सैखोम मीराबाई चानू के पैतृक गांव नोंगपोक काकचिंग में मेगा हैंडलूम क्लस्टर स्थापित करने का फैसला किया है, जो देश के लिए उनके योगदान और साथ ही देश में हथकरघा और हस्तशिल्प उत्पादन में मणिपुर के योगदान को देखते हुए वहां काम करने के लिए समर्पित है। उन्होंने कहा कि भारत को मीराबाई चानू पर गर्व है।पीयूष गोयल ने कहा कि मीराबाई ने देश का नाम रोशन किया है और वह न केवल पूर्वोत्तर क्षेत्र के लिए बल्कि भारत के लिए भी अनमोल रत्न हैं।
मेगा हैंडलूम क्लस्टर की स्थापना की घोषणा करते हुए पीयूष गोयल ने कहा कि वस्त्र मंत्रालय राष्ट्रीय हथकरघा विकास कार्यक्रम (एनएचडीपी) के तहत 30 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से यह मेगा क्लस्टर स्थापित कर रहा है। उन्होंने इस परियोजना की आधारशिला रखने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की इच्छा का भी जिक्र किया।
कपड़ा उत्पादन में देश की क्षमता के बारे में चर्चा करते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा कि मणिपुर का वस्त्र उत्पाद न केवल देश में बल्कि दुनिया भर में जाना जाता है। उन्होंने कहा कि इस विचार को ध्यान में रखते हुए कि यह क्षेत्र भारत को एक महाशक्ति देश बनाने में योगदान दे सकता है, उनका मंत्रालय कपड़ा क्षेत्र के विकास के लिए कड़ी मेहनत कर रहा है।
पीयूष गोयल ने इस बात पर भी जोर दिया कि देश को वैश्विक शक्ति बनाने के सपने को साकार करने के लिए सभी क्षेत्रों का एक संयुक्त उद्यम जरूरी है और देश को हमारे श्रमिकों, किसानों तथा समाज के अन्य वर्गों में इस लक्ष्य को हासिल करने का भरोसा है।
इससे पहले, केंद्रीय मंत्री ने मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह और अन्य मंत्रियों के साथ शिल्प क्षेत्र की विषयवार प्रदर्शनी का उद्घाटन किया। उन्होंने केंद्रीय वस्त्र मंत्रालय से मणिपुर की हथकरघा ब्रांड एंबेसडर मीराबाई चानू को 30 लाख रुपये का चेक भी सौंपा। मीराबाई की मां सैखोम तोम्बी लीमा ने अपनी पुत्री की तरफ से चेक को प्राप्त किया।
पीयूष गोयल ने राज्य के चयनित बुनकरों को टूल किट, पहचान पत्र, मणिपुर यार्ड कार्ड, करघा प्रमाण पत्र और बुनकर मुद्रा ऋण भी वितरित किए।
पीयूष गोयल ने इम्फाल के कल्याण आश्रम में भगवान बिरसा मुंडा की जयंती मनाने के लिए पहले जनजातीय गौरव दिवस में भी भाग लिया।