इस दिन व्रत, उपवास, मंत्रजाप और रात्रि जागरण का विशेष महत्व है. महीने की हर चतुर्दशी को मास शिवरात्रि आती है, लेकिन सावन का महीना शिव जी का महीना है इसलिए सावन की शिवरात्रि का विशेष महत्व हो जाता है. इस दिन लोग कांवड़ में जल भरकर शिवलिंग पर अर्पित करते हैं. इस बार सावन की शिवरात्रि 26 जुलाई को है.
नई दिल्ली: शिवरात्रि सनातन धर्म का एक बहुत बड़ा पर्व है. ऐसा माना जाता है इस दिन शिवजी का प्राकट्य हुआ था. इसके अलावा शिवजी का विवाह भी इस दिन माना जाता है. इस महादेव की उपासना से व्यक्ति को जीवन में सम्पूर्ण सुख प्राप्त हो सकता है. इस दिन व्रत, उपवास, मंत्रजाप और रात्रि जागरण का विशेष महत्व है. महीने की हर चतुर्दशी को मास शिवरात्रि आती है, लेकिन सावन का महीना शिव जी का महीना है, इसलिए सावन की शिवरात्रि का विशेष महत्व हो जाता है. इस दिन लोग कांवड़ में भरकर शिवलिंग पर अर्पित करते हैं. इस बार सावन की शिवरात्रि 26 जुलाई को है.
कैसे करें शिवजी की उपासना?
स्नान करके शिव पूजा का संकल्प लें. शिवजी को जल अर्पित करें. इसके बाद पंचोपचार पूजन करके शिव जी के मन्त्रों का जाप करें. रात्रि में शिव मंत्रों के अलावा रुद्राष्टक अथवा शिव स्तुति का पाठ भी कर सकते हैं. अगर चार पहर पून करते हैं तो पहले पहर में दूध, दूसरे में दही, तीसरे में घी और चौथे में शहद से पूजन करें. हर पहर में जल का प्रयोग जरूर करना चाहिए.
शिवरात्रि शुभ मुहुर्त
हिंदू पंचांग के अनुसार, सावन माह की चतुर्दशी तिथि 26 जुलाई शाम 6 बजकर 46 मिनट से प्रारंभ होगी. इस तिथि का समापन 27 जुलाई को रात्रि 9 बजकर 11 मिनट पर होगा. शिवरात्रि व्रत का पारण मुहूर्त 27 जुलाई की सुबह 8 बजकर 41 मिनट से लेकर दोपहर 3 बजकर 52 मिनट तक रहेगा.
चार पहर में करें महादेव की पूजा
सुबह के वक्त स्नान करके शिव पूजा का संकल्प लें. शिव जी को जल अर्पित करें. इसके बाद पंचोपचार पूजन करके शिव जी के मन्त्रों का जाप करें. रात में शिव मंत्रों के अलावा रुद्राष्टक या शिव स्तुति का पाठ भी कर सकते हैं. अगर चार पहर पूजन करते हैं तो पहले पहर में दूध,
दूसरे पहर में दही, तीसरे पहर में घी और चौथे पहर में शहद से पूजन करें. हर पहर में जल का प्रयोग जरूर करना चाहिए.
शिवरात्रि के दिव्य उपाय
धन की प्राप्ति के लिए प्रार्थना करें.
संतान के लिए
शिव लिंग पर घी अर्पित करें. फिर जल की धारा अर्पित करें. इसके बाद संतान प्राप्ति के लिए प्रार्थना करें
विवाह के लिए क्या उपाय करें?
शिवलिंग पर 108 बेल पत्र अर्पित करें. हर बेल पत्र के साथ “नमः शिवाय” कहें.